Thursday, September 7, 2017

एक नहीं 5 करोड़ के तीन-तीन चेक. इत्तेफाक या कुछ जताने की जतन

(1.3 मिनट में पढ़ें )
तीन भाजपा शासित राज्य. सबसे पहले मध्य प्रदेश के सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग पटना में बिहार के मुख्यमंत्री को बाढ राहत के लिए एक चेक सौंपते हैं. इसके बाद झारखंड के मंत्री सीपी सिंह भी मुख्यमंत्री को इसी मद में एक चेक सौंपते हैं. तीसरे नंबर पर गुजरात सरकार के राजस्व मंत्री भूपेंद्र सी चुडसामा ने भी एक चेक मुख्यमंत्री को सौंपा. भले ही ये तीनों चेक अलग- अलग भाजपा शासित राज्यों से आये हों, पर सभी चेक पर दर्ज रकम एक ही है. न एक आना कम, न एक आना ज्यादा. पूरे के पूरे 5 करोड़. ऐसे में यह सवाल लाजमी है कि क्या 5 करोड़ की रकम महज इत्तेफाक है या कुछ जताने की जतन. वैसे आप बाजीगर फिल्म का गाना भी गुनगुना सकते हैं, ' छुपाना भी नहीं आता जताना भी नहीं आता.' अब ऐसे में कुछ लोग इसे 2008 कोसी बाढ आपदा के बाद तत्कालीन गुजरात के सीएम नरेंद्र मोदी द्वारा मदद के लिए भेजे गये 5 करोड़ के चेक को बैरंग लौटाने से भी जोड़ कर देख रहे हैं. बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी कहते हैं कि पुरानी बातों को याद करने से कोई फायदा नहीं है. उन्होंने कहा है कि बिहार में इस साल भयानक बाढ़ को देखते हुए कई राज्यों ने मदद दी है. केवल गुजरात ही नहीं मध्यप्रदेश, झारखंड और उत्तर प्रदेश जैसे राज्य मदद कर रहे हैं. मोदीजी की सफाई अपनी जगह ठीक हो सकती है, लेकिन लाख टके का सवाल तो है ही कि तीन भाजपा शासित राज्य और मदद के लिए एक ही रकम वह भी 5 करोड़ का? 

No comments:

Post a Comment

इस खबर पर आपका नजरिया क्या है? कृप्या अपने अनुभव और अपनी प्रतिक्रिया नीचे कॉमेंट बॉक्स में साझा करें। अन्य सुझाव व मार्गदर्शन अपेक्षित है.

मंत्रीजी, होम क्वरंटाइन में घुमे जा रहे हैं

 बतौर केंद्रीय स्वास्थ्य राज्यमंत्री कोरोनाकाल में अश्वनी चैबे की जिम्मेवारियां काफी बढ जानी चाहिए। क्योंकि आम लोग उनकी हरेक गतिविधियों खासक...